tag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post3619297741834924024..comments2024-03-17T16:55:05.139+05:30Comments on जिज्ञासा की जिज्ञासा : शून्य का चक्रजिज्ञासा सिंह http://www.blogger.com/profile/06905951423948544597noreply@blogger.comBlogger30125tag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-20283511306218246142021-01-06T09:19:23.150+05:302021-01-06T09:19:23.150+05:30इतनी सुन्दर उपमा देने के लिए जितना आभार व्यक्त करू...इतनी सुन्दर उपमा देने के लिए जितना आभार व्यक्त करूँ कम है प्रिय रेणु जी आपकी सुन्दर और सशक्त भाषा को नमन करती हूँ 💐जिज्ञासा सिंह https://www.blogger.com/profile/06905951423948544597noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-46625284429384004112021-01-05T22:49:07.908+05:302021-01-05T22:49:07.908+05:30शून्य का ये चक्र सा जो चल रहा
डोलते हैं हम सभी उस...शून्य का ये चक्र सा जो चल रहा <br />डोलते हैं हम सभी उस चाक में ।<br />कौन है जो अडिग अविचल जी सके <br />कौन है जिसको न मिलना ख़ाक में ।।<br />जीवन की नश्वरता की गहनता से पड़ताल करती विद्वता पूर्ण रचना प्रिय जिज्ञासा जी। रेणुhttps://www.blogger.com/profile/16292928872766304124noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-3711467984218500262021-01-05T12:35:37.477+05:302021-01-05T12:35:37.477+05:30जितेन्द्र जी आपका हृदय से आभार व्यक्त करती हूँ साद...जितेन्द्र जी आपका हृदय से आभार व्यक्त करती हूँ सादर नमन..जिज्ञासा सिंह https://www.blogger.com/profile/06905951423948544597noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-54963464591960789622021-01-05T12:34:12.865+05:302021-01-05T12:34:12.865+05:30जी, आलोक सर !आपकी स्नेहपूर्ण प्रशंसा को नमन करते ह...जी, आलोक सर !आपकी स्नेहपूर्ण प्रशंसा को नमन करते हुए आपको प्रणाम प्रेषित करती हूँ..नव वर्ष की हार्दिक शुभकामनायें..सादर जिज्ञासा सिंह..जिज्ञासा सिंह https://www.blogger.com/profile/06905951423948544597noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-48911574098812982112021-01-01T14:01:18.311+05:302021-01-01T14:01:18.311+05:30सार्थक रचना है यह आपकी जिज्ञासा जी । संसार का भी ए...सार्थक रचना है यह आपकी जिज्ञासा जी । संसार का भी एवं जीवन का भी सत्य तो अंततः यही है । जितेन्द्र माथुरhttps://www.blogger.com/profile/15539997661147926371noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-45014867903629875662020-12-31T21:52:12.403+05:302020-12-31T21:52:12.403+05:30शून्य का ये चक्र सा जो चल रहा
डोलते हैं हम सभी उस...शून्य का ये चक्र सा जो चल रहा <br />डोलते हैं हम सभी उस चाक में ।<br />कौन है जो अडिग अविचल जी सके <br />कौन है जिसको न मिलना ख़ाक में ।<br />बहुत सुन्दर रचना | बधाई की साथ नव वर्ष की शत शत शुभ कामनाएं <br />आलोक सिन्हाhttps://www.blogger.com/profile/17318621512657549867noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-14936219119108216682020-12-30T23:47:32.792+05:302020-12-30T23:47:32.792+05:30आपकी टिप्पणी से अभिभूत हूँ..सादर नमन.. आपकी टिप्पणी से अभिभूत हूँ..सादर नमन.. जिज्ञासा सिंह https://www.blogger.com/profile/06905951423948544597noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-46910549027828648852020-12-30T23:46:12.750+05:302020-12-30T23:46:12.750+05:30बहुत बहुत धन्यवाद प्रिय अनीता जी..सादर नमन.. बहुत बहुत धन्यवाद प्रिय अनीता जी..सादर नमन.. जिज्ञासा सिंह https://www.blogger.com/profile/06905951423948544597noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-21514755055849881502020-12-30T12:33:42.751+05:302020-12-30T12:33:42.751+05:30शून्यवत ... हार्दिक शुभकामनाएँ ।शून्यवत ... हार्दिक शुभकामनाएँ ।Amrita Tanmayhttps://www.blogger.com/profile/06785912345168519887noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-28893136543536638652020-12-29T19:10:50.741+05:302020-12-29T19:10:50.741+05:30वाह!बहुत ही सुंदर सृजन।
सादर वाह!बहुत ही सुंदर सृजन।<br />सादर अनीता सैनी https://www.blogger.com/profile/04334112582599222981noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-28580740881032689072020-12-29T14:42:13.015+05:302020-12-29T14:42:13.015+05:30बहुत बहुत आभार शुभा जी , सादर नमन !बहुत बहुत आभार शुभा जी , सादर नमन !जिज्ञासा सिंह https://www.blogger.com/profile/06905951423948544597noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-50469261327550934942020-12-29T12:25:40.766+05:302020-12-29T12:25:40.766+05:30वाह!,बेहतरीन सृजन ।वाह!,बेहतरीन सृजन ।शुभा https://www.blogger.com/profile/09383843607690342317noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-25778310416003580962020-12-29T12:19:30.711+05:302020-12-29T12:19:30.711+05:30आदरणीय मीना जी, आपकी प्रशंसा को तहेदिल से नमन करती...आदरणीय मीना जी, आपकी प्रशंसा को तहेदिल से नमन करती हूँ..सादर अभिवादन..।जिज्ञासा सिंह https://www.blogger.com/profile/06905951423948544597noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-5861308330938880022020-12-29T12:18:09.833+05:302020-12-29T12:18:09.833+05:30आदरणीय विभा रानी दी, आपकी प्रशंसा का हृदय से नमन औ...आदरणीय विभा रानी दी, आपकी प्रशंसा का हृदय से नमन और वंदन करती हूँ..सादर जिज्ञासा..जिज्ञासा सिंह https://www.blogger.com/profile/06905951423948544597noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-64128750463338162072020-12-29T08:37:02.283+05:302020-12-29T08:37:02.283+05:30शून्य का ये चक्र सा जो चल रहा
डोलते हैं हम सभी उस...शून्य का ये चक्र सा जो चल रहा <br />डोलते हैं हम सभी उस चाक में ।<br />जीवन सत्य यही तो है । शून्य को परिभाषित करती अति सुन्दर कृति।Meena Bhardwajhttps://www.blogger.com/profile/02274705071687706797noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-18520772605970634212020-12-29T05:54:54.679+05:302020-12-29T05:54:54.679+05:30कौन है जो अडिग अविचल जी सके
कौन है जिसको न मिलना...कौन है जो अडिग अविचल जी सके <br />कौन है जिसको न मिलना ख़ाक में ।<br /><br />–सच्चाईविभा रानी श्रीवास्तवhttps://www.blogger.com/profile/01333560127111489111noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-78861037281780768912020-12-28T23:51:46.302+05:302020-12-28T23:51:46.302+05:30आपकी अति प्रशंसनीय टिप्पणी को हृदय से नमन करती हूँ...आपकी अति प्रशंसनीय टिप्पणी को हृदय से नमन करती हूँ..आपका कोटि कोटि आभार..सादर अभिवादन..जिज्ञासा सिंह https://www.blogger.com/profile/06905951423948544597noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-91602048914003780192020-12-28T23:48:39.892+05:302020-12-28T23:48:39.892+05:30चर्चा अंक में मेरी रचना शामिल करने के लिए आपको हृद...चर्चा अंक में मेरी रचना शामिल करने के लिए आपको हृदय से आभार व्यक्त करती हूँ..आपको मेरी हार्दिक शुभकामनायें..जिज्ञासा सिंह https://www.blogger.com/profile/06905951423948544597noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-1505595537272618762020-12-28T21:34:41.545+05:302020-12-28T21:34:41.545+05:30शून्य हूँ ! कल शून्य में मिलना मुझे है
पर सफर ये ...शून्य हूँ ! कल शून्य में मिलना मुझे है <br />पर सफर ये शून्य का कैसे करूँ मैं ।<br />शून्य के अंजान पथ पर अग्रणी हो <br />चल रे मनवा हाथ तेरा पकड़ लूँ मैं ।।<br /><br />अंदाज़े बयां ऐसा कि हर शब्द, निशब्द कर जाये - - बेहद सुन्दर सृजन।Shantanu Sanyal शांतनु सान्यालhttps://www.blogger.com/profile/06457373513221191796noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-31680948019793341692020-12-28T18:55:02.606+05:302020-12-28T18:55:02.606+05:30सादर नमस्कार ,
आपकी इस प्रविष्टि् के लिंक की चर्च...सादर नमस्कार , <br />आपकी इस प्रविष्टि् के लिंक की चर्चा कल मंगलवार (29-12-20) को <a href="https://charchamanch.blogspot.com/" rel="nofollow">"नया साल मंगलमय होवे" (चर्चा अंक 3930)</a> पर भी होगी।<br /> आप भी सादर आमंत्रित है।<br /> -- <br />कामिनी सिन्हा <br /><br /><br />Kamini Sinhahttps://www.blogger.com/profile/01701415787731414204noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-17915110923153702612020-12-28T18:51:09.290+05:302020-12-28T18:51:09.290+05:30आपकी मूल्यवान प्रशंसा को नमन औरवंदन .. आपको मेरा अ...आपकी मूल्यवान प्रशंसा को नमन औरवंदन .. आपको मेरा अभिवादन..सादर ..जिज्ञासा सिंह https://www.blogger.com/profile/06905951423948544597noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-27599494547316245412020-12-28T18:49:37.258+05:302020-12-28T18:49:37.258+05:30सुंदर प्रासंगिक व्याख्या के साथ सराहनीय टिप्पणी के...सुंदर प्रासंगिक व्याख्या के साथ सराहनीय टिप्पणी के लिए आपका हार्दिक आभार व्यक्त करती हूँ..सादर नमन..जिज्ञासा सिंह https://www.blogger.com/profile/06905951423948544597noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-48216395072893545692020-12-28T18:47:18.255+05:302020-12-28T18:47:18.255+05:30आदरणीय शास्त्री जी,नमस्कार ! आपकी स्नेहसिक्त प्रत...आदरणीय शास्त्री जी,नमस्कार ! आपकी स्नेहसिक्त प्रतिक्रिया के लिए आपका नमन और वंदन करती हूँ..सादर..जिज्ञासा सिंह https://www.blogger.com/profile/06905951423948544597noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-14185909778400079292020-12-28T18:45:06.101+05:302020-12-28T18:45:06.101+05:30सराहनीय प्रतिक्रिया के लिए आपका बहुत आभार वीरेंद्र...सराहनीय प्रतिक्रिया के लिए आपका बहुत आभार वीरेंद्र जी..सादर नमन..जिज्ञासा सिंह https://www.blogger.com/profile/06905951423948544597noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-3791215077552166321.post-51995130585632381982020-12-28T18:43:49.653+05:302020-12-28T18:43:49.653+05:30आदरणीय दिग्विजय जी, नमस्कार ! मेरी रचना को"सा...आदरणीय दिग्विजय जी, नमस्कार ! मेरी रचना को"सांध्य दैनिक मुखरित मौन में" शामिल करने के लिए आपका बहुत आभार व्यक्त करती हूँ..सादर..जिज्ञासा सिंह https://www.blogger.com/profile/06905951423948544597noreply@blogger.com